दोस्तों शेयर बाज़ार से आप क्या समझते है ? यदि किसी से भी ये सवाल किया जाए तो जवाब यही मिलेगा कि शेयर बाज़ार वह जगह होती है जहाँ बहुत सारी दुकाने होती है या फिर बिग बाज़ार जैसा कोई बड़ा सा मॉल होगा जहां पर ढेर सारी खरीदारी की जा सकें. आप बिलकुल सही सोच रहे है. कोई भी आम सोच रखने वाले इंसान का शेयर बाज़ार से तात्पर्य यही होगा | क्या आप जानते है कि शेयर को खरीदने-बेचने का काम भीशेयर बाज़ार कहलाता है. फर्क बस इतना है कि यहाँ पर ढेर सारी दुकाने नहीं होती है और ना ही कोई बड़ा सा मॉल होता है. शेयर बाज़ार का काम तो पूरी तरह से कंप्यूटर द्वारा संचालित होता है. शेयर बाज़ार में कोई भी निवेश कर सकता है. शेयर को खरीदने-बेचने वाला अपने दलाल के माध्यम से एक्सचेंज सेण्टर में आर्डर दे सकता है और कुछ सेकंडों में ही हज़ारों-लाखों के सौदें हो जाते है. आप शेयर से क्या समझते है ? शेयर का अर्थ होता है हिस्सा. यदि यही बात हम शेयर बाज़ार के सन्दर्भ में कहे तो शेयर का अर्थ होता है कम्पनी में हिस्सा. उदाहरण के लिए मान लीजिये कि किसी कम्पनी ने १० लाख के शेयर्स जारी किये और कम्पनी के प्रस्ताव के अनुसार आप जितने मूल्य के भी शेयर खरीद लेते है आपका उस कम्पनी में उतने का मालिकाना हक़ हो जाता है. अब आप जब चाहे उस कम्पनी के शेयर्स किसी को भी ऊँचे दाम में बेंच सकते है. शेयर्स खरीदने की कोई सीमा नहीं होती है. आप १० शेयर्स से लेकर लाखों के शेयर्स खरीद सकते है.
कोई भी कम्पनी जब अपने शेयर्स जारी करती है तो उस वक़्त किस व्यक्ति या समूह को कितने शेयर्स देना है ये उनका अपना अधिकार होता है. शेयर बाज़ार से शेयर्स खरीदने या बेचने के लिए कई दलाल होते है जो कि लगभग २% अपना मेहनताना लेकर अपने ग्राहकों को यह सेवा प्रदान करते है. आपको ये जानकर आश्चर्य होगा कि जो भी कम्पनी अपने शेयर्स जारी करती है उनके मूल्य मुंबई शेयर बाज़ार (बीएसई) में ही दर्ज होते है. इन शेयर्स का मूल्य उनकी लाभदायक क्षमता के अनुसार कम-ज्यादा होता रहता है. पूरे शेयर बाज़ार पर सेबी यानी कि भारतीय प्रतिभूति एवं विनिमय बोर्ड का नियंत्रण होता है. सेबी की अनुमति से ही कोई भी कम्पनी अपने प्रारंभिक निर्गम इश्यू (आईपीओ) जारी कर सकती है. प्रत्येक वार्षिक या अर्धवार्षिक में बाज़ार के उतार-चढ़ाव के आधार पर ही कम्पनी को लाभ होने पर वह अपने शेयर धारकों को एक निश्चित अनुपात में लाभांश भी वितरित करती है.
किसी भी कम्पनी को स्वयं को शेयर बाज़ार में सूचीबद्ध करने के लिए शेयर बाज़ार से एक लिखित समझौता करना पड़ता है. इस लिखित समझौते के आधार पर ही कम्पनी बाज़ार को अपने प्रत्येक नफ़े-नुक्सान की जानकारी देती रहती है. वस्तुतः उन्ही बातों की जानकारी ज्यादातर देती है जो कि निवेशकों के हितों से सम्बंधित हो. इन्ही जानकारियों के आधार पर ही बाज़ार कंपनियों का मूल्यांकन करती है और उस मूल्यांकन के आधार पर ही उस कम्पनी के शेयर्स में मांग घटती-बढ़ती है. उनके मांगो के आधार पर ही कीमतें तय होती है. कम्पनी को सूचीबद्ध नियमों का पालन करना अनिवार्य होता है. नियमो का पालन ना करने की दशा में सेबी कम्पनी के विरुद्ध कार्यवाही तक कर सकती है.
भारतीय शेयर बाज़ार में आये दिन उतार-चढ़ाव होते ही रहते है. एक समय तो ऐसा भी था कि शेयर बाज़ार २०००० से ऊपर के अंक पर पहुँच चुका था और तकरीबन १५००० के अंक पर आकर रुक गया था. निवेशकों की तो हालत ख़राब हो गई थी. कई बार सुनने में आता है कि शेयर बाज़ार २०० या ३०० अंक नीचे गिर गया या बढ़ गया. आज हम आपको ये बताएँगे कि बाज़ार के ऊपर उठने या नीचे गिरने की गणना कैसे की जाती है. आप तो जानते ही है कि
हमारे भारत देश में दो प्रकार के शेयर बाज़ार है :
- मुंबई स्टॉक एक्सचेंज (बीएसई)
- नेशनल स्टॉक एक्सचेंज (एनएसई)
जो भी कंपनी बीएसई में सूचीबद्ध होती है उनके शेयर्स के भावों में उतार-चढ़ाव को सेंसेक्स से बताया जाता है जबकि इसके विपरीत एनएसई में सूचीबद्ध कम्पनी को निफ्टी कहते है. आपने हमेशा सुना होगा कि आज सेंसेक्स ऊपर गया या सेंसेक्स नीचे आ गया. इसका अर्थ होता है कि बीएसई में सूचीबद्ध कम्पनी के शेयरों में अच्छी बढ़त हुयी है जबकि सेंसेक्स का गिरना मतलब कम्पनी के शेयर्स ने आज अच्छा कारोबार नहीं किया.
शेयर बाज़ार में कैसे निवेश करें ?
यदि आप शेयर बाज़ार के बारे कुछ भी जानकारी नहीं रखते है या फिर आपके पास शेयर बाज़ार में निवेश करने की ज्यादा जानकारी नहीं है तोशेयर बाजार की पूरी जानकारी – शेयर बाजार में निवेश कैसे करें शेयर कैसे खरीदते है , शेयर से हमारा मतलब किसी कम्पनी के “इक्विटी शेयरों” से है। शेयर मार्किट से जुड़ी १०० रहस्य जिनको अमल में लाकर आप ना केवल शेयर बाज़ार में निवेश कर अच्छी खासी कमाई कर सकते है बल्कि गिरते हुए बाज़ार से भी कमाई कर सकते है.
- सबसे पहले तो ये ध्यान में रखे कि यदि आप शेयर बाज़ार में निवेश करने जा रहे है तो अपने तमाम मित्रों, रिश्तेदारों और दलालों द्वारा बताये हुए निवेश के तरीकों या बाज़ार में फैली अफवाहों के आधार पर निवेश ना करें.
- आप जिस भी कम्पनी के शेयर खरीदने जा रहे है सबसे पहले तो उस कम्पनी के बारे में अच्छी तरह से जांच-पड़ताल कर ले. जैसे कि कम्पनी का इतिहास, बाज़ार में उसकी स्थिति, कम्पनी का वित्तीय चिटठा और पिछले कुछ सालों में कम्पनी द्वारा अर्जित लाभ-हानि की स्थिति इत्यादि. कोशिश करें कि बाज़ार के बारे में ज्यादा से ज्यादा जानकारी हासिल करें.
-
नियमित रूप से समाचार पत्र पढ़े जैसे कि इकोनॉमिक्स टाइम्स, बिजनेस स्टेंडर्ड आदि. और साथ ही साथ CNBC आवाज़ चैनल देखे. इनके माध्यम से आपको बाज़ार की अच्छी-खासी जानकारी मिल जायेगी.
- जब आपको बाज़ार के उतार-चढ़ाव और उनके भावों का पर्याप्त ज्ञान हो जाए तब आप उनमे से कोई भी दो या तीन कम्पनी को निवेश के लिए चुन सकते है. लेकिन शुरुआत में आपको ज्यादा निवेश करने से और कोई भी अतिरिक्त जोखिम उठाने से बचना होगा क्योंकि शेयर बाज़ार सिर्फ और सिर्फ बाज़ार की जोखिमों पर ही चलता है.
- आपको उन्ही शेयर्स में निवेश करना चाहिए जो किसी भी मान्यता प्राप्त स्टॉक एक्सचेंज पर सूचीबद्ध हो.
- यदि आप शेयर बाज़ार में निवेश करने जा रहे है तो ऐसी कम्पनी चुने जो कि बेहतर और लाभ में बढ़ोत्तरी करने वाली हो.
-
शेयर बाज़ार में अधिक से अधिक लाभ कमाने के लिए आपको चाहिए कि लम्बी अवधि के लिए निवेश करे. कम से कम ५ वर्ष की अवधि तो होना ही चाहिए.
-
किसी भी शेयर को खरीदते समय अपनी पूंजी का १०% हिस्सा ही निवेश करे. ध्यान रहे बहुत अधिक मात्रा में भी शेयर्स में निवेश करने से बचें अन्यथा उनकी निगरानी करने में आपको ही परेशानी होगी. एक बार में कम से कम १० से १५ शेयर्स में ही निवेश करे.
- जिस भी कम्पनी के शेयर्स खरीदने जा रहे है उस कंपनी के पिछले तिमाही के प्रदर्शन और वार्षिक रिपोर्ट का अच्छी तरह से विश्लेषण करें.
- अपने लिए एक अच्छा दलाल चुने ताकि वो आपको बाज़ार कि स्थिति की सही जानकारी दे सके. वो आपको सलाह दे सके कि किस शेयर्स में निवेश करना आपके लिए फायदेमंद हो सकता है.
- यदि आप शेयर बाज़ार से अच्छा-ख़ासा मुनाफा कमाना चाहते है तो एक बात गाँठ बाँध ले कि निवेश लम्बी अवधि के लिए करें.
-
शेयर बाज़ार में निवेश करने के लिए आपको अपने स्वविवेक से निर्णय लेना होगा और साथ ही साथ बाज़ार के उतार-चढ़ाव पर भी अपनी पैनी नज़र रखनी होगी. ध्यान रहे कि शेयर बाज़ार भाग्य के भरोसे पर नहीं चलता है. अतः तुक्का लगाने से बचे. ये कोई जुआ नहीं है जहाँ किस्मत के भरोसे पर दांव लगते है.
वेबसाइट का नियमित रूप से अध्यन करते रहे. आपको किस कम्पनी के किस शेयर में कितना निवेश करना चाहिए और कितने समय के लिए निवेश करना होगा इन सब बातों की जानकारी आपको उपरोक्त वेबसाइट पर मिल जायेगी
- www.visionbooksindia.com
- www.bseindia.com
- www.sharekhan.com
- www.equitymaster.com
- www.capitalmarket.com
- www.nseindia.com
- www.sebi.gov.in
- www.indiabulls.com
- www.moneycontrol.com
- www.mutualfundsindia.com
- www.myiris.com
- www.nsdl.co.in
- www.icicidirect.com
- www.investsmarti
- www.capitalideasonline.com